सरलता से गहरी बात कहने का हुनर अजंता देव की कविताओं में खूब देखने को मिलता है. इनकी लगभग हर कविता बहुत शानदार है. इनकी भाषा भी उतना ही प्रभावित करती हैं जितनी कविता.

पढ़िए ‘ग़ज़ल के रंग में’ मुमकिन हुई चर्चित कवयित्री अजंता देव की शानदार, जानदार कविता

रात अंधेरी तारे गुम, इस पल सबसे प्यारे तुम
जितना हमसे दूर हुए, उतने हुए हमारे तुम
– अजंता देव

रात अंधेरी तारे गुम

इस पल सबसे प्यारे तुम

जितना हमसे दूर हुए

उतने हुए हमारे तुम

घास फूल चिड़िया आकाश

सबमें नदी किनारे तुम

अनजाने में जीत गए

जान-बूझकर हारे तुम

मंदिर मस्जिद गुरुद्वारा

मेरे पंज पियारे तुम

Raat Andheri tare ghum

Is pal sabse pyaare tum

Jitna humsedur huey

Utne hueyhumaare tum

Ghaas phoos chidiya Aakash

Sab meinnadikinaaretum

Anjaane mein jeet gaye

Jaan boojh kar hare tum

Mandir masjid gurudwara

Mere punj piyaare tum